Bihar Board Class 7 Geography Chapter 2 Solutions – हमारी पृथ्वी के अंदर (New Book)

Bihar Board Class 7 Geography Chapter 2 Solutions from New Book are available here. Get complete question answer of chapter 2 – “हमारी पृथ्वी के अंदर” in Hindi medium. This is based on the new syllabus and Geography book – हमारा पर्यावरण (Hamara Paryavaran).

इस अध्याय में आप पृथ्वी की आंतरिक संरचना के बारे में जानेंगे। यह आपको बताएगा कि हमारी पृथ्वी तीन परतों – क्रस्ट, मैंटल और कोर – से बनी है, और प्रत्येक परत की अपनी विशेषताएँ हैं। आप विभिन्न प्रकार की चट्टानों जैसे आग्नेय, अवसादी और रूपांतरित चट्टानों के बारे में सीखेंगे, साथ ही खनिजों जैसे कोयला और लोहा के महत्व को समझेंगे।

Bihar Board Class 7 Geography Chapter 2 Solutions new book

Bihar Board Class 7 Geography Chapter 2 Solutions

SubjectGeography (हमारी दुनिया भाग 2)
Class7th
Chapter2. हमारी पृथ्वी के अंदर
BoardBihar Board

1. निम्न प्रश्नों के उत्तर दीजिए—

(क) पृथ्वी की तीन परतें क्या हैं?

उत्तर: पृथ्वी की तीन मुख्य परतें हैं:

  • पर्पटी या भूपर्पटी (क्रस्ट) – सबसे बाहरी और सबसे पतली परत
  • मैंटल (प्रावार) – मध्य परत जो सबसे मोटी है
  • क्रोड (कोर) – सबसे भीतरी परत जो बहुत गर्म और घनी है

(ख) शैल क्या है?

उत्तर: प्राकृतिक रूप से पाए जाने वाले खनिजों के मिश्रण को शैल कहते हैं। पृथ्वी की भूपर्पटी इन्हीं शैलों से बनी है। शैल अलग-अलग रंग, आकार और बनावट के हो सकते हैं। शैल कठोर और ठोस होते हैं और इनका उपयोग घर, सड़क और इमारत बनाने में किया जाता है।

(ग) तीन प्रकार की शैलों के नाम लिखें।

उत्तर: तीन प्रकार की शैलें हैं:

  • आग्नेय शैल – जो गर्म मैग्मा या लावा से बनती हैं
  • अवसादी शैल – जो अवसादों के जमा होने और दबने से बनती हैं
  • कायांतरित शैल – जो आग्नेय या अवसादी शैलों के ताप और दबाव से बदलने पर बनती हैं

(घ) बहिर्भेदी एवं अंतर्भेदी शैल का निर्माण कैसे होता है?

उत्तर:

बहिर्भेदी आग्नेय शैल: जब धरती के अंदर से आग की तरह गर्म तरल मैग्मा (लावा) बाहर निकलकर पृथ्वी की सतह पर आता है, तो वह जल्दी ठंडा होकर ठोस बन जाता है। इस तरह बनी शैल को बहिर्भेदी आग्नेय शैल कहते हैं। जैसे – बेसाल्ट (दक्कन का पठार इसी से बना है)।

अंतर्भेदी आग्नेय शैल: जब मैग्मा पृथ्वी की सतह पर नहीं पहुंचता और भूपर्पटी के अंदर ही धीरे-धीरे ठंडा होकर जम जाता है, तो इससे अंतर्भेदी आग्नेय शैल बनती है। धीरे-धीरे ठंडा होने के कारण इनमें बड़े दाने बनते हैं। जैसे – ग्रेनाइट (सिलबट्टा इसी से बनता है)।

(च) शैल चक्र से आप क्या समझते हैं?

उत्तर: शैल चक्र वह प्रक्रिया है जिसमें एक प्रकार की शैल समय के साथ दूसरी प्रकार की शैल में बदल जाती है। जैसे, आग्नेय शैल टूटकर अवसादी शैल बन सकती है, और अवसादी शैल गर्मी और दबाव से कायांतरित शैल में बदल सकती है। यह एक ऐसा चक्र है जिसमें शैलें लगातार एक रूप से दूसरे रूप में बदलती रहती हैं।

(छ) शैलों के क्या उपयोग हैं?

उत्तर: शैलों के कई उपयोग हैं:

  • घर, इमारत और सड़क बनाने में
  • ग्रेनाइट, संगमरमर, बलुआ पत्थर जैसी शैलों का उपयोग भवन निर्माण में
  • सिलबट्टा (चक्की) बनाने में
  • मूर्तियां और कलाकृतियां बनाने में
  • बच्चों के खेल जैसे – पिट्टू (सात पत्थर), स्टापू (चिबिड्डी), गिट्टी (पाँच पत्थर) आदि में

(ज) कायांतरित शैल क्या हैं?

उत्तर: कायांतरित शैल वे शैल हैं जो आग्नेय या अवसादी शैलों से बनती हैं जब वे बहुत अधिक गर्मी और दबाव के संपर्क में आती हैं। इस प्रक्रिया में शैल के मूल रूप और गुण बदल जाते हैं। उदाहरण के लिए, चिकनी मिट्टी दबाव और गर्मी से स्लेट में बदल जाती है और चूना पत्थर संगमरमर में बदल जाता है।

2. सही (✓) उत्तर चिह्नित कीजिए—

(क) द्रवित मैग्मा से बने शैल-
(i) आग्नेय।
(ii) अवसादी।
(iii) कायांतरित।

उत्तर: (i) आग्नेय। ✓

(ख) पृथ्वी की सबसे भीतरी परत-
(i) पर्पटी।
(ii) क्रोड।
(iii) मैंटल।

उत्तर: (ii) क्रोड। ✓

(ग) सोना, पेट्रोलियम एवं कोयला किसके उदाहरण हैं?
(i) शैल।
(ii) खनिज।
(iii) जीवाश्म।

उत्तर: (ii) खनिज। ✓

(घ) शैल, जिसमें जीवाश्म होते हैं-
(i) अवसादी शैल।
(ii) कायांतरित शैल।
(iii) आग्नेय शैल।

उत्तर: (i) अवसादी शैल। ✓

(च) पृथ्वी की सबसे पतली परत है—
(i) पर्पटी।
(ii) मैंटल।
(iii) क्रोड।

उत्तर: (i) पर्पटी। ✓

3. निम्नलिखित स्तंभों को मिलाकर सही जोड़े बनाइए—

उत्तर:

(क) क्रोड(v) सबसे भीतरी परत
(ख) खनिज(iv) इसका एक निश्चित रासायनिक मिश्रण होता है
(ग) शैल(ii) सड़क एवं इमारत बनाने के लिए उपयोग होता है
(घ) चिकनी मिट्टी(vi) स्लेट में बदलता है
(च) सिएल(iii) सिलिका एवं एलुमिना से बनता है

4. कारण बताइए—

(क) हम पृथ्वी के केंद्र तक नहीं जा सकते हैं।

उत्तर: हम पृथ्वी के केंद्र तक नहीं जा सकते क्योंकि:

  • पृथ्वी के केंद्र तक पहुँचने के लिए लगभग 6000 किलोमीटर गहराई तक खोदना पड़ेगा जो हमारे लिए असंभव है।
  • पृथ्वी के अंदर बहुत अधिक तापमान (लगभग 5000°C) और दबाव है जिसे कोई भी मनुष्य या मशीन सहन नहीं कर सकती।

(ख) अवसादी शैल अवसाद से बनती हैं।

उत्तर: जब शैल टूटकर छोटे-छोटे कण बनाती हैं, तो इन्हें अवसाद कहते हैं। हवा, पानी और बर्फ इन अवसादों को एक जगह से दूसरी जगह ले जाते हैं और नदियों, झीलों या समुद्र के तल पर जमा कर देते हैं। समय के साथ, ये अवसाद एक-दूसरे पर परतों में जमते हैं और ऊपरी परतों के भार से दबकर कठोर हो जाते हैं। इस तरह से अवसादी शैल बनती हैं।

(ग) चूना पत्थर संगमरमर में बदलता है।

उत्तर: जब चूना पत्थर (अवसादी शैल) पृथ्वी के अंदर बहुत अधिक गर्मी और दबाव के संपर्क में आता है, तो उसके अंदर के खनिज पिघल नहीं पाते लेकिन उनकी बनावट बदल जाती है। इस प्रक्रिया में, चूना पत्थर के कण फिर से जुड़कर एक कड़ी, चमकदार और सुंदर शैल बनाते हैं जिसे संगमरमर कहते हैं। इसलिए चूना पत्थर कायांतरण प्रक्रिया से संगमरमर में बदल जाता है।

5. आओ खेलें—

(क) निम्न वस्तुओं में उपयोग किए गए खनिजों की पहचान करें।

उत्तर:

वस्तुखनिज
कढ़ाईलोहा
आभूषणसोना, चांदी
तवालोहा
घंटीपीतल (तांबा और जस्ता)
हथौड़ालोहा
दीपपीतल (तांबा और जस्ता)

(ख) विभिन्न खनिजों से बनी कुछ अन्य वस्तुओं के चित्र बनाएँ।

उत्तर: विद्यार्थी निम्न वस्तुओं के चित्र बना सकते हैं:

  • लोहे से बनी वस्तुएँ: कैंची, चाकू, कील, चम्मच
  • तांबे से बनी वस्तुएँ: तार, लोटा, पानी की पाइप
  • एल्युमिनियम से बनी वस्तुएँ: बर्तन, फॉयल, खिड़की के फ्रेम
  • सोने-चांदी से बनी वस्तुएँ: अंगूठी, कंगन, हार, सिक्के
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