UP Board Class 10 Economics Chapter 1 Solutions – विकास

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इस अध्याय में हम विकास की अवधारणा को समझेंगे, जो अर्थशास्त्र का एक महत्वपूर्ण विषय है। विकास का अर्थ केवल आर्थिक वृद्धि नहीं है, बल्कि यह एक बहुआयामी प्रक्रिया है जो समाज के सभी वर्गों के जीवन स्तर में सुधार लाती है। हम यहाँ विकास के विभिन्न पहलुओं, जैसे आर्थिक संवृद्धि, मानव विकास, सतत विकास और समावेशी विकास पर चर्चा करेंगे। साथ ही, विकास के मापन के विभिन्न तरीकों और भारत के संदर्भ में विकास की चुनौतियों और अवसरों पर भी प्रकाश डालेंगे।

UP Board Class 10 Economics chapter 1

UP Board Class 10 Economics Chapter 1 Solutions

SubjectEconomics
Class10th
Chapter1. विकास
BoardUP Board

1. सही उत्तर का चयन करें

1. सामान्यत: किसी देश का विकास किस आधार पर निर्धारित किया जा सकता है?

(क) प्रतिव्यक्ति आय
(ख) औसत साक्षरता दर
(ग) लोगों की स्वास्थ्य स्थिति
(घ) उपरोक्त सभी

उत्तर- (घ) उपरोक्त सभी

2. निम्नलिखित पड़ोसी देशों में से मानव विकास के लिहाज से किस देश की स्थिति भारत से बेहतर है?

(क) बांग्लादेश
(ख) श्रीलंका
(ग) नेपाल
(घ) पाकिस्तान

उत्तर- (ख) श्रीलंका

3. मान लीजिए कि एक देश में चार परिवार हैं। इन परिवारों की प्रतिव्यक्ति आय 5,000 रुपये है। अगर तीन परिवारों की आय क्रमश: 4,.000, 7,000 और 3,000 रुपये है, तो चौथे परिवार की आय क्या है?

(क) 7.500 रुपये
(ख) 3,000 रुपये
(ग) 2,000 रुपये
(घ) 6,000 रुपये

उत्तर- (घ) 6,000 रुपये

Question Answer

4. विश्व बैंक विभिन्न वर्गों का वर्गीकरण करने के लिये किस प्रमुख मापदण्ड का प्रयोग करता है? इस मापदण्ड की, अगर कोई हैं, तो सीमाएँ क्या हैं?

उत्तर: विश्व बैंक देशों का वर्गीकरण करने के लिए प्रति व्यक्ति सकल राष्ट्रीय आय (GNI) का उपयोग करता है। यह मापदंड आर्थिक स्थिति का एक सरल संकेतक है, लेकिन इसकी कुछ सीमाएँ हैं। यह आय के वितरण, जीवन की गुणवत्ता, और गैर-मौद्रिक कारकों जैसे शिक्षा और स्वास्थ्य को नहीं दर्शाता। इसलिए, यह किसी देश के समग्र विकास का पूर्ण चित्र नहीं देता।

5. विकास मापने का यू.एन.डी.पी. का मापदण्ड किन पहलुओं में विश्व बैंक के मापदण्ड से अलग है?

उत्तर: यू.एन.डी.पी. का मानव विकास सूचकांक (HDI) विश्व बैंक के मापदंड से व्यापक है। यह न केवल प्रति व्यक्ति आय, बल्कि शिक्षा (औसत स्कूली शिक्षा के वर्ष) और स्वास्थ्य (जीवन प्रत्याशा) को भी शामिल करता है। HDI विकास के तीन महत्वपूर्ण आयामों को मापता है, जो जीवन की समग्र गुणवत्ता का बेहतर प्रतिनिधित्व करते हैं।

6. हम औसत का प्रयोग क्यों करते हैं? इनके प्रयोग करने की क्या कोई सीमाएँ हैं? विकास से जुड़े अपने उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए।

उत्तर: औसत का उपयोग बड़ी मात्रा के डेटा को सरल रूप में प्रस्तुत करने के लिए किया जाता है। हालांकि, यह असमानताओं को छिपा सकता है। उदाहरण के लिए, एक देश की औसत आय बढ़ सकती है, जबकि गरीब और अमीर के बीच का अंतर बढ़ जाता है। इसलिए, विकास का मूल्यांकन करते समय औसत के साथ-साथ आय वितरण, गरीबी दर, और अन्य सामाजिक संकेतकों को भी ध्यान में रखना चाहिए।

7. प्रतिव्यक्ति आय कम होने पर भी केरल का मानव विकास क्रमांक पंजाब से ऊँचा है। इसलिए प्रतिव्यक्ति आय एक उपयोगी मापदण्ड बिलकुल नहीं है। राज्यों की तुलना के लिये इसका उपयोग नहीं करना चाहिए। क्या आप सहमत हैं? चर्चा कीजिए।

उत्तर: प्रति व्यक्ति आय एक महत्वपूर्ण मापदंड है, लेकिन यह विकास का एकमात्र संकेतक नहीं होना चाहिए। केरल का उदाहरण दर्शाता है कि बेहतर शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाएं जीवन की गुणवत्ता में सुधार ला सकती हैं, भले ही आय कम हो। राज्यों की तुलना करते समय प्रति व्यक्ति आय के साथ-साथ शिक्षा, स्वास्थ्य, और सामाजिक सूचकांकों को भी ध्यान में रखना चाहिए। यह समग्र विकास की बेहतर समझ प्रदान करेगा।

8. भारत के लोगों द्वारा ऊर्जा के किन स्रोतों का प्रयोग किया जाता है? ज्ञात कीजिए। अब से 50 वर्ष पश्चात क्या संभावनाएँ हो सकती हैं?

उत्तर: भारत में ऊर्जा के विभिन्न स्रोतों का उपयोग होता है। ग्रामीण क्षेत्रों में जलाऊ लकड़ी और गोबर के उपलों का प्रयोग होता है, जबकि शहरी क्षेत्रों में एलपीजी, बिजली और पेट्रोलियम उत्पादों का उपयोग अधिक है। 50 वर्ष बाद, नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों जैसे सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा और जैव ईंधन का उपयोग बढ़ सकता है। परमाणु ऊर्जा और हाइड्रोजन ईंधन जैसे विकल्प भी महत्वपूर्ण हो सकते हैं। ऊर्जा दक्षता और स्मार्ट ग्रिड तकनीक भी भविष्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती हैं।

9. धारणीयता का विषय विकास के लिए क्यों महत्वपूर्ण है?

उत्तर: धारणीयता विकास के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि यह वर्तमान और भविष्य की पीढ़ियों के बीच संतुलन बनाए रखती है। यह सुनिश्चित करता है कि आर्थिक विकास पर्यावरण को नुकसान पहुंचाए बिना होता है। धारणीय विकास समाज के सभी वर्गों के लिए समान अवसर प्रदान करता है और प्राकृतिक संसाधनों का विवेकपूर्ण उपयोग सुनिश्चित करता है। यह दीर्घकालिक आर्थिक स्थिरता और पारिस्थितिक संतुलन को बढ़ावा देता है।

10. धरती के पास सब लोगों की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये पर्याप्त संसाधन हैं, लेकिन एक भी व्यक्ति के लालच को पूरा करने के लिए पर्याप्त संसाधन नहीं हैं। यह कथन विकास की चर्चा में कैसे प्रासंगिक है? चर्चा कीजिए।

उत्तर: यह कथन संसाधनों के न्यायसंगत वितरण और धारणीय उपयोग की आवश्यकता पर जोर देता है। यह बताता है कि विकास का लक्ष्य सभी की बुनियादी जरूरतों को पूरा करना होना चाहिए, न कि कुछ लोगों की असीमित इच्छाओं को। यह समावेशी विकास की अवधारणा को बढ़ावा देता है, जहां समाज के सभी वर्गों को लाभ मिलता है। यह कथन हमें याद दिलाता है कि विकास के साथ-साथ संसाधनों का संरक्षण और पर्यावरण की सुरक्षा भी महत्वपूर्ण है।

11. पर्यावरण में गिरावट के कुछ ऐसे उदाहरणों की सूची बनाइए जो आपने अपने आसपास देखे हों।

उत्तर: पर्यावरण में गिरावट के कुछ सामान्य उदाहरण हैं: वायु प्रदूषण (धुआं, धूल), जल प्रदूषण (नदियों में कचरा), वनों की कटाई, प्लास्टिक कचरे का जमाव, शहरी क्षेत्रों में हरियाली की कमी, और जैव विविधता का नुकसान। इसके अलावा, मौसम में अनियमित बदलाव, तापमान में वृद्धि, और अत्यधिक गर्मी या बाढ़ जैसी चरम मौसमी घटनाएं भी पर्यावरण गिरावट के संकेत हैं। इन समस्याओं से निपटने के लिए व्यक्तिगत और सामूहिक प्रयास आवश्यक हैं।

12. तालिका 1.6 में दी गई प्रत्येक मद के लिए ज्ञात कीजिए कि कौन सा देश सबसे ऊपर है और कौन सा सबसे नीचे।

उत्तर:

मापदण्डसबसे ऊपरसबसे नीचे
प्रति व्यक्ति आयश्रीलंकाम्यांमार
अधिकतम आयुश्रीलंकाम्यांमार
साक्षरता दरश्रीलंकाबांग्लादेश
स्कूल में नामांकन की दरश्रीलंकापाकिस्तान

13. नीचे दी गई तालिका में भारत में व्यस्कों (15-49 वर्ष आयु वाले) जिनका बी.एम.आई. सामान्य से कम है (बी.एम.आई. <18.5kg/ms) का अनुपात दिखाया गया है। यह वर्ष 2015-16 में देश के विभिन्न राज्यों के एक सर्वेक्षण पर आधारित है। तालिका का अध्ययन करके निम्नलिखित प्रश्नों का उत्तर दीजिए।

(क) केरल और मध्य प्रदेश के लोगों के पोषण स्तरों की तुलना कीजिए।
(ख) क्या आप अन्दाज लगा सकते हैं कि देश में लगभग हर पाँच में से एक व्यक्ति अल्पपोषित क्यों है, यद्यपि यह तर्क दिया जाता है कि देश में पर्याप्त खाद्य है? अपने शब्दों में विवरण दीजिए।

उत्तर:

(क) केरल और मध्य प्रदेश के लोगों के पोषण स्तरों की तुलना:

केरल में अल्पपोषित व्यस्कों का प्रतिशत मध्य प्रदेश की तुलना में काफी कम है। केरल में पुरुषों और महिलाओं दोनों में यह अनुपात कम है, जो बेहतर पोषण स्तर का संकेत देता है। यह अंतर शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता, और सामाजिक विकास के स्तर में अंतर को दर्शाता है।


(ख) देश में पर्याप्त खाद्य होने के बावजूद अल्पपोषण की समस्या के कारण:

  • गरीबी और आय असमानता: कई लोग पौष्टिक भोजन खरीदने में असमर्थ हैं।
  • शिक्षा का अभाव: पोषण संबंधी जागरूकता की कमी से अस्वस्थ खाने की आदतें बनती हैं।
  • सार्वजनिक वितरण प्रणाली की कमियाँ: गरीबों तक सस्ता और पौष्टिक भोजन नहीं पहुँच पाता।
  • स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुँच की कमी: कुपोषण का समय पर निदान और उपचार नहीं हो पाता।
  • लैंगिक असमानता: कई परिवारों में महिलाओं और बच्चियों को पर्याप्त पोषण नहीं मिलता।
Other Chapter Solutions
Chapter 1 Solutions – विकास
Chapter 2 Solutions – भारतीय अर्थव्यवस्था के क्षेत्रक
Chapter 3 Solutions – मुद्रा और साख
Chapter 4 Solutions – वैश्वीकरण और भारतीय अर्थव्यवस्था
Chapter 5 Solutions – उपभोक्ता अधिकार

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